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राजपूताने के सक्षम राज्यों का भारत संघ में विलय पर विशेष छूट
07.04.2018
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राजपूताने के सक्षम राज्यों का भारत संघ में विलय एवं राजस्थान में एकीकरण
जनसंख्या, क्षेत्रफल एवं राजस्व संग्रहण के आधार पर राजपूताने में चार सक्षम राज्य थे- जयपुर, जोधपुर, उदयपुर तथा बीकानेर। ये रियासतें ब्रिटिश भारत की राष्ट्रीय राजनीति में अत्यंत प्रभावशाली थीं। जब भारत और पाकिस्तान अलग हुए तो मुहम्मद अली जिन्ना ने प्रयास किया कि कुछ हिन्दू रियासतें पाकिस्तान में मिल जाएं ताकि भोपाल तथा जूनागढ़ की मुस्लिम रियासतें पाकिस्तान में सम्मिलित हो सकें। भोपाल का नवाब हमीदुल्ला खाँ भी इस योजना में सम्मिलित हो गया। इस प्रकार भावी भारत के जन्म से पहले ही उसके टुकड़े करने का गहरा षड़यंत्र चला। अंतरिम सरकार के रियासती विभाग के मंत्री सरदार पटेल तथा उनके संवैधानिक सलाहकार वी. पी. मेनन ने इस षड़यंत्र को तोड़ा तथा भारतीय क्षेत्र की एक भी रियासत को पाकिस्तान में नहीं जाने दिया। उदयपुर, बीकानेर तथा जैसलमेर के राजाओं ने भी भारत सरकार का साथ दिया और जिन्ना तथा हमीदुल्ला खाँ का षड़यंत्र विफल हो गया। इस पुस्तक में राजपूताने की चारों सक्षम राज्यों के भारत में मिलने तथा आजादी के बाद राजस्थान में एकीकृत होने के रोचक एवं शोधपूर्ण इतिहास को लिखा गया है।
हार्ड बाउण्ड एडीशन, सचित्र, पृष्ठ संख्या 344, मूल्य 650 रुपये।
राजस्थान हिस्ट्री वैबसाईट एवं एप से ऑनलाइन खरीदने पर 20 प्रतिशत छूट तथा पैकिंग एवं डाक व्यय निःशुल्क।